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Udyog Aadhar या Aadhar उद्योग के लिए एक 12-अंकों का एक उद्योग पहचान संख्या है, जो कि सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय और भारत सरकार द्वारा छोटे और मध्यम उद्यमों के व्यवसाय के पंजीकरण पर प्रदान की जाती है। यह 12 अंको वाली पहचान संख्या मुख्य रूप से वर्ष 2015 में इन उद्यमों के लिए पंजीकरण की प्रक्रिया को आसान बनाने के लिए शुरू की गई थी। उद्योग आधार आने से पहले यह पंजीकरण प्रक्रिया ज्यादा पेपर वर्क वाली और कठिन भी होती थी। इस प्रक्रिया को सरल बनाने के लिए छोटे उद्योग और MSME दोनों के लिए अलग पंजीकरण आवश्यक था। पंजीकरण प्रक्रिया में EM-I / II (एंटरप्रेन्योर मेमोरेंडम) की प्रणाली के तहत आवश्यक प्रमाणित प्रमाण पत्रों के साथ लगभग 11 अलग-अलग फॉर्म जमा करना पड़ता था।
इसके साथ साथ Udyog Aadhar के तहत कम और रियायती दरों पर बैंक ऋण प्रदान करता है। इस योजना के तहत सरकार कम लागत वाले छोटे और माध्यम तबके के उद्यमों को बढ़ावा देने के लिए रियायत और सब्सिडी का लाभ देने का काम करती है।
Table of Contents
माइक्रो , स्माल और मध्यम उद्योगों की परिभाषा
सूक्ष्म उद्यम -> जहां संयंत्र और मशीनरी या उपकरण में निवेश एक करोड़ रुपये से अधिक नहीं है और कारोबार पांच करोड़ रुपये से अधिक नहीं है;
लघु उद्यम -> जहां संयंत्र और मशीनरी या उपकरण में निवेश दस करोड़ रुपये से अधिक नहीं है और कारोबार पचास करोड़ रुपये से अधिक नहीं है;
मध्यम उद्यम -> जहां संयंत्र और मशीनरी या उपकरण में निवेश पचास करोड़ रुपये से अधिक नहीं है और कारोबार दो सौ पचास करोड़ रुपये से अधिक नहीं है।
सूक्ष्म, लघु या मध्यम उद्यम के अंतर्गत शामिल होना
(1) कोई व्यक्ति जो सूक्ष्म, लघु या मध्यम उद्यम स्थापित करने की आशय रखता है, स्व-घोषणा के आधार पर उद्यम रजिस्ट्रीकरण पोर्टल में ऑनलाइन उद्यम रजिस्ट्रीकरण के लिए आवेदन कर सकेगा जिसमें दस्तावेज, कागजात, प्रमाणपत्रों या सबूत को अपलोड करने की कोई आवश्यकता नहीं है। (2) रजिस्ट्रीकरण के समय उद्यम (जिसे उद्यम रजिस्ट्रीकरण पोर्टल में “उद्यम’’ कहा गया है) को “उद्यम रजिस्ट्रीकरण संख्या’’ के रूप में ज्ञात एक स्थायी पहचान संख्या दी जाएगी । (3) रजिस्ट्रीकरण प्रक्रिया पूरी होने पर “उद्यम रजिस्ट्रीकरण प्रमाण पत्र’’ अर्थात् एक ई-प्रमाणपत्र जारी किया जाएगा।
इन्वेस्टमेंट और टर्नओवर के क्लासिफिकेशन का कम्पोज़िट क्राइटेरिया
(1) किसी उद्यम को सूक्ष्म, लघु या मध्यम के रूप में क्लासिफिकेशन के
लिए इन्वेस्टमेंट और टर्नओवर का एक कम्पोज़िट क्राइटेरिया लागू होगा।
(2) यदि कोई उद्यम अपनी वर्तमान श्रेणी के लिए इन्वेस्टमेंट या
टर्नओवर के दोनों मानदंड में से किसी अधिकतम सीमा को पार करता
है, तो वह उस श्रेणी से बहार हो जाएगा तथा उसे अगली उच्चतर
श्रेणी में रखा जाएगा किन्तु किसी भी उद्यम को तब तक निम्नतर श्रेणी
में नहीं रखा जाएगा जब तक वह इन्वेस्टमेंट तथा टर्नओवर के दोनों
मापदंडों में अपनी वर्तमान श्रेणी के लिए विनिर्दिष्ट अधिकतम सीमा
के नीचे नहीं चला जाता है ।
(3) वस्तु और सेवा कर पहचान संख्या (GSTIN) सहित
सभी इकाइयां, जिन्हें समान स्थायी खाता संख्या (पैन) के लिए
सूचीबद्ध किया गया है, को सामूहिक रूप से एक उद्यम के रूप में
माना जाएगा और ऐसी सभी इकाइयों के लिए इन्वेस्टमेंट और टर्नओवर
संबंधी आंकड़ों पर सामूहिक रूप से ध्यान दिया जाएगा तथा सूक्ष्म, लघु
या मध्यम के रूप में श्रेणी को decide करने के लिए टोटल वैल्यू
को considered किया जाएगा।
प्लांट, इक्विपमेंट और मशीनरी में इन्वेस्टमेंट कैलकुलेशन कैसे की जाती है।
1) इक्विपमेंट और मशीनरी या प्लांट में इन्वेस्टमेंट की गणना को
आय कर अधिनियम, 1961 के तहत फाइल किए गए पूर्ववर्ती वर्षों के
आयकर रिटर्न (आईटीआर) से जोड़ा जाएगा।
(2) नए उद्यम की दशा में, जहां कोई पूर्व आईटीआर उपलब्ध नहीं है,
वहां उद्यम के प्रमोटर के सेल्फ डिक्लेरेशन के आधार परइन्वेस्टमेंट किया
जाएगा और ऐसी छूट उस वित्त वर्ष में 31 मार्च के पश्चात समाप्त हो
जाएगी जिसमें वह उद्यम अपना पहला आईटीआर फाइल करता है।
(3) उद्यम के “संयंत्र और मशीनरी या प्लांट ’’ का वही अर्थ होगा
जो आयकर अधिनियम, 1961 के अधीन विरचित आयकर नियम, 1962
में संयंत्र और मशीनरी में उसका है और इसमें सभी टेंजिबल एसेट्स (भूमि
और भवन, फर्नीचर और फिटिंग से भिन्न) शामिल होंगी।
(4) यदि उद्यम बिना किसी आईटीआर का नया है, तो संयंत्र और
मशीनरी या प्लांट की खरीद (इन्वॉइस) मूल्य, चाहे पहली बार या दूसरी बार खरीदा गया हो, माल और सेवा कर (जीएसटी) को छोड़कर,
सेल्फ डिस्क्लोजर के आधार पर हिसाब में लिया जाएगा।
(5) अधिनियम की धारा 7 की उप-धारा (1) के स्पष्टीकरण में निर्दिष्ट कुछ वस्तुओं की लागत को इक्विपमेंट और मशीनरी में इन्वेस्टमेंट की राशि की गणना से बाहर रखा जाएगा।
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टर्नओवर की कैलकुलेशन कैसे की जाती है
(1) क्लासिफिकेशन के प्रयोजन के लिए कोई उद्यम, चाहे वह सूक्ष्म, लघु या मध्यम हो, के इन्वेस्टमेंट की गणना करते समय माल या सेवाओं या दोनों के निर्यात को बाहर रखा जाएगा।
(2) उद्यम के लिए टर्नओवर और निर्यात टर्नओवर के संबंध में जानकारी
आयकर अधिनियम या केंद्रीय माल और सेवा अधिनियम (CGST Act) और GSTIN से संबद्ध होगी।
(3) ऐसे उद्यम के टर्नओवर संबंधी आंकड़े, जिनके पास पैन नहीं है, को
31 मार्च, 2021 तक की अवधि के लिए सेल्फ डिक्लेरेशन के आधार पर माना
जाएगा और उसके पश्चात्, पैन और जीएसटीआईएन अनिवार्य होगा।
रजिस्ट्रेशन प्रोसेस
1) रजिस्ट्रीकरण के लिए प्रारूप उद्यम रजिस्ट्रीकरण पोर्टल में उपलब्ध
कराया जाएगा।
(2) उद्यम रजिस्ट्रीकरण फाइल करने के लिए कोई फीस नहीं ली जाती है ।
(3) उद्यम रजिस्ट्रेशन के लिए आधार संख्या की जरूरत होगी।
(4) आधार संख्या प्रोपराइटरशिप फर्म के मामले में प्रोपराइटर की होगी,
पार्टनरशिप फर्म के मामले में मैनेजिंग पार्टनर र की और HUF हिन्दू अनडिवाइडेड फैमिली
(एचयूएफ) के मामले में कर्ता की होगी।
(5) कंपनी या लिमिटेड लायबिलिटी पार्टनरशिप या किसी कॉर्पोरेट सोसाइटी
या सोसाइटी या ट्रस्ट के मामले में, संगठन या उसके ऑथोराइज्ड सिग्नेटरी अपने आधार संख्या सहित अपना जीएसटीआईएन और
पैन उपलब्ध कराएंगे ।
(6) यदि कोई एंटरप्राइज पैन सहित उद्यम के रूप में dully रजिस्टर्ड है, तो पूर्व वर्षों की किसी भी जानकारी की कमी जब उसके पास पैन
नहीं था, को सेल्फ डिक्लेरेशन के आधार पर भरा जाएगा।
(7) कोई भी एंटरप्राइज एक से अधिक एंटरप्राइज रजिस्ट्रेशन फाइल नहीं
करेगा: परन्तु मैन्युफैक्चरिंग या सेवा या दोनों प्रकार की गतिविधियों को एक एंटरप्राइज रजिस्ट्रेशन में विनिर्दिष्ट किया या जोड़ा जायेगा ।
(8) यदि कोई जानबूझकर गलत जानकारी देता है या एंटरप्राइज रजिस्ट्रीकरण या उन्नयन प्रक्रिया में दिखाई देने वाले सेल्फ डिक्लेरेशन तथ्यों और आंकड़ों को छिपाने का प्रयास करता है, तो वह अधिनियम की
धारा 27 के अधीन विनिर्दिष्ट दंड का पात्र होगा।
उद्यमों की सुविधा और उनकी शिकायतों का निवारण
(1) विभिन्न संस्थाओं और विकास संस्थाओं (एमएसएमईडीआई) सहित सूक्ष्म, लघु और
मध्यम उद्यम मंत्रालय के कार्यालयों में कार्यरत चैंपियन कं ट्रोल रूम रजिस्ट्रीकरण की
प्रक्रिया को सुविधाजनक बनाने और सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों को आगे सुगमता
पूर्वक सभी प्रकार की संभव सहायता उपलब्ध कराने के लिए एकल खिड़की प्रणाली
के रूप में कार्य करेंगे।
(2) जिला उद्योग केंद्र (डीआईसी) भी अपने-अपने जिलों में एकल खिड़की सुविधा
प्रणाली के रूप में कार्य करेंगे।
(3) यदि कोई व्यक्ति किसी कारणवश जिसके अन्तर्गत आधार संख्या का न होना भी है,
उद्यम रजिस्ट्रीकरण फाइल नहीं कर पाता है तो वह अपने आधार संख्या नामांकन पहचान
पर्ची अथवा आधार नामांकन के अनुरोध की प्रति अथवा बैंक की फोटोयुक्त पासबुक
अथवा मतदाता पहचान पत्र अथवा पासपोर्ट अथवा ड्राइविंग लाइसेंस में से किसी भी
एक को लेकर उपर्युक्त किसी भी एकल खिड़की प्रणाली से उद्यम रजिस्ट्रीकरण के लिए संपर्क कर सकता है तथा एकल खिड़की प्रणाली, जिसके अंतर्गत प्रक्रिया भी है, उसकी
आधार संख्या प्राप्त करने में सहायता करेगी और तत्पश्चात उद्यम रजिस्ट्रीकरण की आगे
की प्रक्रिया में सहायता करेगी।
(4) किसी भी त्रुटि अथवा शिकायत के मामले में संबंधित जिले के जिला उद्योग केन्द्र
का महाप्रबंधक उद्यम द्वारा दिए गए उद्यम रजिस्ट्रीकरण के ब्यौरों के सत्यापन के संबंध
में जांच करेगा और तत्पश्चात अपनी आवश्यक टिप्पणी के साथ मामले को संबंधित राज्य सरकार के निदेशक अथवा आयुक्त अथवा उद्योग सचिव के पास भेजेगा जो उद्यम को नोटिस जारी करने और उसे मामले को प्रस्तु करने का अवसर प्रदान करेगा तथा जांच के आधार पर ब्यौरों में संशोधन कर सकेगा अथवा सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय से उद्यम रजिस्ट्रीकरण प्रमाण पत्र निरस्त करने की सिफारिश कर सकेगा।
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सरकार द्वारा जारी किया गया दिशा निर्देश
MSME पंजीकरण प्रक्रिया पूरी तरह से ऑनलाइन, पेपरलेस और स्व-घोषणा पर आधारित है।
MSME को पंजीकृत करने के लिए कोई दस्तावेज या प्रमाण अपलोड करने की आवश्यकता नहीं है। पंजीकरण के लिए केवल आधार संख्या ही पर्याप्त होगी। उद्यमों के निवेश और टर्नओवर पर पैन और जीएसटी से जुड़े विवरण स्वचालित रूप से सरकारी डेटा बेस से लिए जाएंगे।
सरकार की ऑनलाइन प्रणाली पूरी तरह से आयकर और जीएसटीआईएन सिस्टम के साथ एकीकृत होगी। पैन और जीएसटी नंबर 01.04.2021 से अनिवार्य है।
जिन लोगों के पास EMME-II या UAM पंजीकरण या MSME मंत्रालय के तहत किसी भी प्राधिकरण द्वारा जारी किया गया कोई अन्य पंजीकरण है, उन्हें खुद को फिर से पंजीकृत करना होगा।
कोई भी उद्योग एक से अधिक उद्योग पंजीकरण नहीं करेगा। हालाँकि, विनिर्माण या सेवा या दोनों सहित कोई भी गतिविधियाँ एक पंजीकरण में निर्दिष्ट या जोड़ी जा सकती हैं।
Udyog Aadhar Registration करने का प्रोसेस
अगर आपका उद्योग माइक्रो , स्माल और मध्यम केटेगरी में आता है तो आप MSME की ऑफिसियल वेबसाइट का उपयोग करके उद्योग आधार के लिए अप्लाई कर सकते हैं।
इसके लिए आपको udyamregistration.gov.in की वेबसाइट ओपन कर लेनी है।
यह udyog aadhar registration बिलकुल फ्री है इसके लिए किसी तरह का शुल्क नहीं है।
Udyog aadhar registration करने के लिए आपके पास आधार कार्ड होना अनिवार्य है।
उद्योग आधार ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन करने आपके आधार कार्ड पर आपका मोबाइल नंबर रजिस्टर होना जरूरी है।
आपकी जानकारी के लिए बता दे की उद्योग आधार का अब नाम बदल कर के उद्यम रजिस्ट्रेशन कर दिया गया है।
उद्यम रजिस्ट्रेशन पर जाने के बाद दिए गए ऑप्शन “for New Entrepreneurs who are not registered yet as MSME or those with EM-II” के ऑप्शन पर करना है।
इसके बाद आप अगले पेज Aadhaar Verification With OTP पर पहुँच जायेंगे।
दी गई जगह पर अपना आधार कार्ड नंबर डालना है और जो आधार कार्ड पर नाम दिया गया है वो नाम डालना है।
निचे दी गई टर्म एंड कंडीशन के ऑप्शन को एक्सेप्ट करना है।
अब Validate & Generate OTP के बटन पर क्लिक करे।
आधार वैलिडेट करने के बाद सबसे पहले आपको टाइप ऑफ़ आर्गेनाईजेशन को सेलेक्ट करना है।
क्या आपके पास पैन कार्ड है , यहाँ से यस और नो को सेलेक्ट करे।
यस सेलेक्ट करने के बाद अपना पैन नंबर डालना है।
निचे दिए गए Validate Pan के बटन पर क्लिक करके पैन को वैलिडेट करना है।
मांगी गई जानकारी के आधार पर यस और नो को सेलेक्ट करे जैसे क्या आपने पिछले साल की आई टी आर भरी है , अगर आई टी आर भरी है तो कौन से टाइप की आई टी आर भरी है, क्या आपके पास GSTIN है , अगर है तो यस पर क्लिक करे।
ऑनलाइन फॉर्म को थोड़ा निचे स्क्रॉल करके कॉलम नंबर 6 में अपना मोबाइल नंबर एंड ईमेल डाले।
कॉलम नंबर 8 में आपको अपनी कास्ट केटेगरी सेलेक्ट करनी है।
कॉलम नंबर 9 और 10 पर भी टिक करना है।
नंबर 11 कॉलम में आपको अपने बिज़नेस का नाम भरना है।
यूनिट ऐड करने के लिए अपने बिज़नेस का नाम दोबारा से डाले और ऐड बटन पर क्लिक करे।
कॉलम नंबर 12 से यूनिट का नाम सेलेक्ट करना है और निचे मांगी गई एड्रेस से सम्बंधित डिटेल्स भरनी है।
अब निचे दिए गए Add Plant के बटन पर क्लिक करना है।
निचे मांगे गए रजिस्टर्ड ऑफिस की डिटेल्स भरनी है।
15 नंबर कॉलम में अपने बिज़नेस की रजिस्ट्रेशन डेट भरनी है
16 नंबर कॉलम में अपने बैंक की डिटेल्स भरनी है।
अगर आपका मैन्युफैक्चरिंग से सम्बंधित बिज़नेस है तो यहाँ पर यस पर टिक लगा कर NIC कोड सर्च करना है और अगर services से सम्बंधित है तो services पर टिक करना है और NIC कोड ढूंढ कर उसे सेलेक्ट करना है।
इसके बाद Add Activity के बटन पर क्लिक करना है।
निचे दिए गए कुछ बिज़नेस के नाम है जो MSME के अंतर्गत काउंट नहीं होते।
निचे 19 नंबर कॉलम में अपने एम्प्लोयी की डिटेल्स भरनी है।
20 नंबर कॉलम में आपको अपने प्लांट , इक्विपमेंट और मशीनरी की कीमत लिखनी है।
ये वैल्यू आप अपनी आई टी आर की टर्नओवर से भी उठा कर भर सकते हैं।
कॉलम नंबर 22 और 23 सरकारी पोर्टल की सेवाओं से सम्बंधित अगर आपको चाहिए तो यस पर क्लिक करे।
24 नंबर कॉलम में आपको कुछ नहीं डालना है।
अंत में Submit & Get Final OTP के बटन पर क्लिक करके OTP प्राप्त करना है।
OTP डालने के बाद एक रजिस्ट्रेशन नंबर generate हो जायेगा जिसे आपको संभाल कर रखना है।
Udyog Aadhar Certificate कैसे डाउनलोड करे ?
Udyog aadhar certificate रजिस्ट्रेशन के 5 या 6 दिन बाद अपलोड होता है इसलिए डाउनलोड करने के लिए 5 या 6 दिन तक इंतजार करना है।
सबसे पहले आधिकारिक वेबसाइट udyamregistration.gov.in को ओपन करे
वेबसाइट खुलने के बाद ऊपर के मेनू Print/Verify के ऑप्शन पर क्लिक करे।
अब ड्राप डाउन से Print Udyam Certificate के ऑप्शन पर क्लिक करना है।
उद्योग आधार रजिस्टर करते वक्त आपको एक रजिस्ट्रेशन नंबर मिला होगा वो रजिस्ट्रेशन नंबर यहाँ पर डालना है।
अपना मोबाइल नंबर डालना है जो उद्योग आधार में डाला गया था।
OTP के लिए निचे दिए गए एक ऑप्शन पर टिक करना है।
अब Validate & Generate OTP के बटन पर क्लिक करे।
OTP डालने के बाद आपके उद्यम रजिस्ट्रेशन का सर्टिफिकेट डाउनलोड हो जायेगा।